भारत की अग्रणी सौर पीवी मॉड्यूल निर्माता कंपनी Waaree Energies ने हाल ही में अपने प्रारंभिक सार्वजनिक पेशकश (आईपीओ) की घोषणा करके व्यवसाय जगत में हलचल पैदा कर दी है। यह आईपीओ 21 अक्टूबर, 2024 को खुलेगा और उम्मीद है कि कंपनी इस पेशकश के माध्यम से 4,321.44 करोड़ रुपये जुटाने में सफल होगी। इस पेशकश में 3,600 करोड़ रुपये के नए इक्विटी शेयर शामिल होंगे और विक्रेताओं Waaree Sustainable Finance और Chandurkar Investments द्वारा 48 लाख शेयर बिक्री के लिए पेश किए जाएंगे। इस कदम का उद्देश्य वित्तीय सुदृढ़ता हासिल करना और कंपनी की उत्पादन क्षमता का विस्तार करना है।
इस आईपीओ के लिए मूल्य सीमा 1,427-1,503 रुपये प्रति शेयर तय की गई है। वर्तमान में, Waaree Energies के शेयरों के लिए ग्रे मार्केट प्रीमियम (GMP) लगभग 1,350 रुपये है, जो इसके अंकित मूल्य पर लगभग 90% का संभावित प्रीमियम इंगित करता है। इससे उम्मीद की जा रही है कि कंपनी के शेयर बाजार में खूब सफलता प्राप्त करेंगे। हालांकि, अभी यह ध्यान देने की जरूरत है कि GMP केवल एक संकेतक है और जल्दी बदल सकता है। इस स्थिति में, निवेशक और विशेषज्ञ आश्वस्त हैं कि Waaree Energies भविष्य में बेहतरीन प्रदर्शन करेगी।
Waaree Energies इस राशि का उपयोग ओडिशा में 6GW विनिर्माण सुविधा के निर्माण में करेगी, जो इन्गोट्स, वेफर्स, सौर सेल और पीवी मॉड्यूल के निर्माण के लिए होगी। इसके साथ ही, इसका उपयोग सामान्य कॉर्पोरेट उद्देश्यों के लिए भी किया जाएगा। कंपनी के पास जून 2024 की स्थिति तक 12GW की स्थापित उत्पादन क्षमता है और अब यह अमेरिका में भी 3GW की नई सुविधा स्थापित करने जा रही है, जो इसके वैश्विक बाजार में पैर जमाने की दिशा में एक बड़ा कदम है।
वित्तीय वर्ष 2024 के लिए, Waaree Energies की संचालन से राजस्व में वर्ष-दर-वर्ष आधार पर 69% की वृद्धि हुई, जो कि 11,398 करोड़ रुपये तक पहुँच गया। इसकी लाभ राशि कर के बाद दोगुनी होकर 1,274 करोड़ रुपये पर पहुंची। इससे पहले के वित्तीय वर्ष में भी उन्होंने उल्लेखनीय वृद्धि दिखाई थी, जहाँ FY22 में उनकी राजस्व से कमाई 2,854 करोड़ रुपये से बढ़कर FY23 में 6,750 करोड़ रुपये हो गई थी। इन आंकड़ों के माध्यम से कंपनी की वित्तीय स्थिति की मजबूतता और उनकी सतत विकास की दिशा स्पष्ट होती है।
आईपीओ की इस पेशकश के लिए, Axis Capital, IIFL Securities, Jefferies India, Nomura Financial Advisory and Securities (India), SBI Capital Markets, Intensive Fiscal Services, और ITI Capital को मुख्य बुक रनिंग लीड मैनेजर के रूप में नामित किया गया है। उम्मीद है कि कंपनी के शेयर बीएसई और एनएसई दोनों पर सूचीबद्ध होंगे, जो कंपनी के लिए वित्तीय संभावनाओं और विश्वसनीयता को बढ़ावा देने में सहायक होंगे।
आईपीओ की बिडिंग प्रक्रिया के तहत एक नियत मात्रा में एक बार में 9 शेयरों की न्यूनतम बोली और उसके बाद 9 के गुणक में बोली लगाई जाएगी। इस नेट ऑफर का 50% तक हिस्सा योग्य संस्थागत खरीदारों (QIBs) के लिए, कम से कम 15% गैर-संस्थागत निवेशकों (NIIs) के लिए और कम से कम 35% रिटेल प्रतिभागियों के लिए आरक्षित होगा। यह विभिन्न स्तरों पर निवेशकों को अत्यधिक लाभ प्रदान करता है और विविध निवेश प्रोफाइल के हिसाब से लाभ पहुंचाने का तरीका पेश करता है।
18 जवाब
सौर ऊर्जा को अपनाना हमारी राष्ट्रीय जिम्मेदारी है। अगर हम इस कदम को नज़रअंदाज़ करें तो भविष्य की पीढ़ियों को भारी बोझ उठाना पड़ेगा। इसलिए निवेशकों को इस IPO में भाग लेना चाहिए।
भाई लोग, Waaree का आईपीओ एक बड़ा मौका है, इसे छोड़ना समझ नहीं आता 😊💪. अगर आप युवा निवेशक हैं तो यह आपके पोर्टफोलियो में स्फूर्ति लाएगा.
रिटेल हिस्सेदारी भी बड़ी है, तो सपने बड़े देखें!
वाह, ग्रे मार्केट प्रीमिक्स प्रतिशत 90%? लगता है गणना में कोई बड़ी गलती हुई है, नहीं तो ऐसा नहीं हो सकता। मैं तो कहूँगा कि बाजार ने पहले ही इस स्टॉक को देखा ही नहीं। जैसे ही गिरावट आएगी, सबको पछतावा होगा।
सच्चाई यह है कि जब हर कोई “सुनहरा अवसर” की बात करता है, तो इसका मतलब अक्सर उल्टा होता है। निवेश केवल चमक-धमक से नहीं, बल्कि ठोस फंडामेंटल्स से तय होता है। Waaree का क्लेम तो बड़े पैमाने पर विस्तार का है, पर क्या यह वास्तविक मांग को पूरा करेगा? शायद नहीं।
देश में सौर ऊर्जा का विकास हमारे स्वाभिमान का मामला है, और Waaree जैसी कंपनी को समर्थन देना हमारा राष्ट्रीय कर्तव्य है। यह आईपीओ न केवल पूँजी जुटाएगा, बल्कि भारत को ऊर्जा आत्मनिर्भरता की ओर भी ले जाएगा। इसलिए कोई भी भारतीय निवेशक इस अवसर को अनदेखा नहीं कर सकता।
भई, ये जो तुम्हारा “राष्ट्रीय कर्तव्य” वाला बात है, इसे हम “डिविडेंड‑अवाइलबिलिटी‑रेट” से ट्यून कर सकते हैं। अगर “कॅपेक्स‑ऑप्टिमाइजेशन” ठीक से नहीं हुआ, तो “ROI” स्लैश हो जाएगा। तो चलो, डिस्कशन में “एनालिटिक्स‑डैशबोर्ड” अपडेट करें।
सभी को नमस्ते, Waaree के IPO के प्रमुख बिंदुओं को संक्षेप में प्रस्तुत करता हूँ:
1. मूल्य सीमा 1,427‑1,503 रुपये।
2. ग्रे मार्केट प्रीमियम लगभग 1,350 रुपये।
3. 6GW ओडिशा में और 3GW अमेरिका में विस्तार।
यदि आप इस जानकारी को अपने निवेश रणनीति में शामिल करते हैं, तो बेहतर निर्णय ले सकते हैं 😊.
सबसैटिकली अगर देखेंगे तो ग्रे मार्केट प्रीमियम अभी ओवरवैल्यूड है, रियल वैल्यू मूवमेंट अभी पीछे है
जो लोग पहली बार IPO में भाग ले रहे हैं, उन्हें बता दूँ कि बिडिंग में न्यूनतम 9 शेयर की बोली लगानी होती है और फिर 9 के गुणक में बढ़ाना चाहिए। यह नियम सभी निवेशकों के लिए समान है, इसलिए आप अपनी वित्तीय योजना के अनुसार भाग ले सकते हैं।
बॉम्ब जैसे मौका!
ऐसी हल्की‑फुल्की टिप्पणी से बाजार की जटिलता को समझा नहीं जा सकता, यह दिखाता है कि बहुत कम जानकारी से बड़ी गलती हो सकती है।
आप सभी ने Waaree के विस्तार के आंकड़े पढ़े, तो यह स्पष्ट है कि यह कंपनी अंतरराष्ट्रीय स्तर पर भी प्रतिस्पर्धा करने की तैयारी में है। अगर आप दीर्घकालिक निवेश देख रहे हैं, तो इस IPO को गंभीरता से विचारना चाहिए। साथ ही, रिटेल निवेशकों के लिए 35% हिस्सा सुरक्षित है, तो मौका हाथ से न जाने दें 😊🌞.
मैं तो कहूँगा कि इस कंपनी की रेवेन्यू ग्रोथ सिग्निफिकेंट है, लेकिन आँकड़ों की जाँच बिना फॉलो‑अप के बुरा हो सकता है। अगर आप सही ड्युटी नहीं करेंगे तो नुकसान उठाना पड़ेगा।
Waaree Energies का IPO वास्तव में एक ऐसा मामला है जो कई निवेशकों को आकर्षित कर रहा है क्योंकि कंपनी की वित्तीय वृद्धि दर उल्लेखनीय है और यह बताता है कि सौर उद्योग में उनका स्थान कितना मजबूत है। इस पहल के पीछे कई कारण हैं जिनमें सबसे प्रमुख है कंपनी का ओडिशा में 6GW का नया निर्माण प्लांट जो उत्पादन क्षमता को दोगुना करने का वादा करता है और साथ ही अमेरिका में 3GW का विस्तार अंतरराष्ट्रीय बाजार में प्रवेश का संकेत देता है। कंपनी ने पिछले वित्तीय वर्ष में 69% की राजस्व वृद्धि दर्ज की है जो दर्शाता है कि उनका संचालन लाभदायक है और निवेशकों को विश्वास दिलाता है कि उनका निवेश उच्च रिटर्न दे सकता है। हालांकि ग्रे मार्केट प्रीमियम का स्तर अभी 90% के आस-पास है जो दर्शाता है कि बाजार इस स्टॉक को अत्यधिक मूल्यांकित कर रहा हो सकता है और इस पर सावधानीपूर्वक विचार करना आवश्यक है। वहीं बिडिंग प्रक्रिया में न्यूनतम 9 शेयर की बोली और 9 के गुणक में वृद्धि की शर्त सभी वर्ग के निवेशकों को समान अवसर प्रदान करती है जिससे रिटेल निवेशकों को भी 35% हिस्सा आवंटित किया गया है। इस पहल के साथ Waaree ने अपने फाइनेंसिंग की संरचना को भी मजबूत किया है क्योंकि उन्होंने वैल्यूएशन को ध्यान में रखते हुए ऋण और इक्विटी का संतुलन बनाया है जिससे भविष्य में फाइनेंशियल स्ट्रेस कम होगा। इसके अलावा कंपनी की लाभप्रदता मार्जिन भी कर पश्चात 1,274 करोड़ रुपये तक पहुँच गई है जो एक स्वस्थ लाभदायक संचालन का संकेत है। कुछ विश्लेषकों का मानना है कि सौर मॉड्यूल की निर्यात क्षमता में वृद्धि से विदेशी मुद्रा आय भी बढ़ेगी और यह कंपनी की बैलेंस शीट को और मजबूत करेगा। दूसरी ओर, यह भी सच है कि सौर ऊर्जा को नीति स्तर पर समर्थन मिल रहा है और भारत की सरकारी योजनाएँ इस सेक्टर को प्रोत्साहित कर रही हैं जिससे Waaree को दीर्घकालिक विकास के अवसर मिलते हैं। यह सभी पहलु मिलकर इस IPO को एक संभावित “सुनहरा अवसर” बनाते हैं परंतु निवेशकों को यह याद रखना चाहिए कि सभी स्टॉक्स में जोखिम मौजूद रहता है और पर्फॉर्मेंस अप्रत्याशित भी हो सकता है। यदि आप एक संयमित पोर्टफोलियो बनाए रखना चाहते हैं तो Waaree को अपने मिक्स्ड एसेट क्लास में शामिल करना एक समझदारी भरा कदम हो सकता है। अंत में यह कहा जा सकता है कि इस IPO के साथ Waaree न केवल वित्तीय रूप से सुदृढ़ होगा बल्कि सौर उद्योग में भारत का वैश्विक प्रतिस्पर्धी बनाव भी सुदृढ़ करेगा। इसलिए यदि आप सस्टेनेबल एनेर्जी सेक्टर में निवेश करने के इच्छुक हैं तो Waaree का IPO आपके लिए एक विचार योग्य विकल्प हो सकता है। ये सब बातों को ध्यान में रखते हुए, मैं व्यक्तिगत रूप से इस आईपीओ को “उच्च संभावित रिटर्न” के रूप में वर्गीकृत करूंगा। अंत में, यह आवश्यक है कि आप अपनी जोखिम सहनशीलता को समझें और इस आधार पर ही निवेश निर्णय लें।
वित्तीय आँकड़ों को देखकर लगता है कि Waaree का विस्तार योजना वास्तव में शानदार है, परन्तु कई निवेशकों को यह समझाना आवश्यक है कि सिर्फ उच्च राजस्व ही सफलता का प्रतीक नहीं होता; प्रतिबद्धता और जोखिम प्रबंधन भी उतना ही महत्वपूर्ण है।
बिल्कुल सही कहा आपने, जोखिम प्रबंधन को नजरअंदाज़ नहीं किया जा सकता 😐.
मैं देख रहा हूँ कि कई युवा निवेशक Waaree के विस्तार को लेकर उत्साहित हैं, लेकिन यह ज़रूरी है कि वे अपनी निवेश रणनीति को दीर्घकालिक लक्ष्यों के साथ संरेखित रखें। यदि आप अपना पोर्टफोलियो विविध बनाते हैं तो संभावित नुकसान को कम किया जा सकता है।
आपके सुझाव तो ठीक हैं लेकिन असल में अगर आप इस IPO को बिना गहन विश्लेषण के ले लेते हैं तो आप वित्तीय जाँच की बुनियादी प्रक्रिया को नज़रअंदाज़ कर रहे हैं, और यही सबसे बड़ा जोखिम है।