पूर्व सांसद और प्रदेश अध्यक्ष प्रभात झा का निधन: बीजेपी में शोक की लहर

जुलाई 26, 2024 11 टिप्पणि Priyadharshini Ananthakumar

पूर्व बीजेपी नेता प्रभात झा का निधन

भारतीय जनता पार्टी के वरिष्ठ नेता और मध्य प्रदेश के पूर्व प्रदेश अध्यक्ष प्रभात झा का 67 वर्ष की उम्र में निधन हो गया। गुरुग्राम के एक अस्पताल में शुक्रवार, 26 जुलाई, 2024 को उनका अंतिम सांस लेना हुआ। वे लंबे समय से बीमारी की हालत से गुज़र रहे थे। बिहारी मूल के प्रभात झा का जन्म 4 जून, 1957 को दरभंगा जिले में हुआ था।

झा का राजनीतिक सफर

प्रभात झा ने अपने करियर की शुरुआत एक पत्रकार के रूप में ग्वालियर से की थी। वहीं से उन्होंने धीरे-धीरे राजनीतिक क्षेत्र में कदम रखा और भारतीय जनता पार्टी से जुड़े। उनकी राजनीतिक यात्रा ने उन्हें 2008 में राज्यसभा सदस्य बनाया। यह कार्यकाल 2020 तक बना रहा। इसके अलावा, 2015 में उन्होंने पार्टी के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष का महत्वपूर्ण पद भी संभाला। मध्य प्रदेश बीजेपी यूनिट के अध्यक्ष पद पर वे मई 2010 से दिसंबर 2012 तक रहे।

बराक के लिए मोदी सहित शीर्ष नेताओं का शोक संदेश

प्रभात झा के निधन पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री मोहन यादव, केंद्रीय कृषि मंत्री शिवराज सिंह चौहान और उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी सहित कई शीर्ष नेताओं ने शोक व्यक्त किया। प्रधानमंत्री ने ट्वीट कर कहा, 'प्रभात झा जी का निधन पार्टी और समाज के लिए बहुत बड़ी क्षति है। उनकी विचारशीलता और नेतृत्व हमेशा याद रहेंगे।' मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री मोहन यादव ने अपने संदेश में कहा, 'झा जी ने अपनी जीवटता और समर्पण से पार्टी और राज्य के विकास में अहम भूमिका निभाई।'

जनता के प्रति झा की सेवा भावना

प्रभात झा की जीवन यात्रा केवल राजनीति तक सीमित नहीं थी। समाजसेवा के क्षेत्र में भी उन्होंने गहन कार्य किए। वे हमेशा जनता के प्रति सेवा भावना से ओतप्रोत रहे। उनके द्वारा चलाई गई कई योजनाएं और नीतियां आज भी याद की जाती हैं। उनके नेतृत्व में पार्टी में अनुशासन और संगठनात्मक ढांचे को मजबूत बनाने के लिए कई महत्वपूर्ण कदम उठाए गए।

पारिवारिक जीवन

प्रभात झा के परिवार में उनकी पत्नी और दो बेटे हैं। उनका अंतिम संस्कार उनके पैतृक गाँव बिहार में किया जाएगा। अंतिम यात्रा में शामिल होने के लिए बड़ी संख्या में उनके समर्थक और पार्टी के सदस्य गाँव पहुंचे हैं। झा की अंतिम यात्रा में पार्टी के कई वरिष्ठ नेता भी शामिल होंगे।

निधि छोड़ चुकी मानवता

निधि छोड़ चुकी मानवता

प्रभात झा की जीवन गाथा एक अद्वितीय उदाहरण है कि कैसे पत्रकारिता और राजनीति के क्षेत्र में समर्पण और मेहनत से ऊंचाइयों को छुआ जा सकता है। उनका जीवन संदेश देता है कि आज के युवा समाज और देश के प्रति अपनी जिम्मेदारियों को समझें और पूरी लगन से उसे निभाएं। उनकी मृत्यु न केवल बीजेपी, बल्कि पूरे समाज के लिए एक बड़ी क्षति है।

अंतिम शब्द

प्रभात झा का निधन उनके परिवार, दोस्तों और पार्टी के लिए अपूरणीय क्षति है। लेकिन उनके द्वारा किए गए कार्य और उनकी सेवाएं हमेशा लाखों लोगों को प्रेरित करती रहेंगी। राजनीतिक आकांक्षाएं और समाजसेवा का अद्वितीय मिलन उनके जीवन की सबसे बड़ी विशेषता थी। झा का इस प्रकार से जाना उनके समर्थकों और प्रशंसकों के लिए एक बड़ी त्रासदी है।

11 जवाब

Aryan Chouhan
Aryan Chouhan जुलाई 26, 2024 AT 23:36

भाई, ई बकवास पोस्ट है, हमेशा की तरह बेकार ।

Tsering Bhutia
Tsering Bhutia जुलाई 27, 2024 AT 01:00

प्रभात झा जी की जीवनी पढ़कर बहुत कुछ सीखने को मिला। उनका पत्रकारिता से राजनीति में संक्रमण दृढ़ निश्चय का उदाहरण है। उन्होंने अपनी मेहनत से कई युवा लोगों को प्रेरित किया। सामाजिक सेवा में उनका योगदान भी सराहनीय था, खासकर ग्रामीण विकास के क्षेत्रों में। पार्टी के भीतर उनकी अनुशासनप्रियता ने कई संगठित पहल को संभव बनाया। हमें उनके कार्यों से प्रेरणा लेकर आगे बढ़ना चाहिए।

Narayan TT
Narayan TT जुलाई 27, 2024 AT 02:06

जैसे ही आप बौद्धिक दिखावों में उलझते हैं, असली मुद्दे गायब हो जाते हैं - बेकार।

SONALI RAGHBOTRA
SONALI RAGHBOTRA जुलाई 27, 2024 AT 04:20

प्रभात झा जी का जीवन वास्तव में कई पहलुओं से प्रेरणादायक है।
पहले उन्होंने एक साधारण रिपोर्टर के रूप में ग्वालियर की जमीन पर कदम रखा, जो आज के युवा पत्रकारों के लिए एक मानक स्थापित करता है।
उन्हें राजनीति में प्रवेश करने का फैसला अपने मूल्यों को खोए बिना किया, जिससे यह स्पष्ट होता है कि सच्चे उद्देश्य के साथ कदम बढ़ाए गए थे।
राज्यसभा में उनका कार्यकाल दो दशक से अधिक रहा, जहाँ उन्होंने कई महत्वपूर्ण बिलों में योगदान दिया।
उन्हें 2015 में राष्ट्रीय उपाध्यक्ष के पद पर चुना गया, जो उनकी पार्टी के भीतर प्रशंसा को दर्शाता है।
मध्य प्रदेश में उनका राजनैतिक नेतृत्व, विशेष रूप से 2010‑2012 के दौरान, कई सामाजिक योजनाओं को जमीन पर ले आया।
वह हमेशा जनता के बीच में रहे, उनकी सबसे बड़ी विशेषता थी जनता की समस्याओं को सुनना और समाधान ढूँढ़ना।
उनकी कई पहलें आज भी ग्रामीण इलाकों में उपयोगी सिद्ध हो रही हैं, जैसे स्वास्थ्य कैंप और शिक्षा सुधार कार्यक्रम।
वह एक ऐसा नेता थे जो संगठनात्मक ढांचे को मजबूत बनाने में कोई कसर नहीं छोड़ते थे।
उनकी विचारशीलता और रणनीतिक सोच ने कई युवा नेताओं को प्रेरित किया।
समाजसेवा में उनका योगदान, विशेषकर गरीबों के लिए किए गए कार्य, हमें उनकी मानवता की याद दिलाते हैं।
वह एक मेहनती व्यक्ति थे, रात‑दिन नहीं थके, अपनी प्रतिबद्धताओं को पूरा करने के लिए।
उनकी व्यक्तिगत जीवन में भी वह सच्चे परिवारिक मूल्य रखे हुए थे, जहाँ उनका समर्थन उनके दो बेटों और पत्नी से मिला।
उनके निधन से न सिर्फ़ भाजपा बल्कि सम्पूर्ण देश को नुकसान हुआ है।
भविष्य की पीढ़ियों को उनके आदर्शों को अपनाते हुए आगे बढ़ना चाहिए, जिससे उनका योगदान जीवित रहे।
उनका जीवन एक ज्वलंत उदाहरण है कि कड़ी मेहनत, ईमानदारी और सामाजिक जिम्मेदारी के साथ कैसे सच्ची सफलता हासिल की जा सकती है।

sourabh kumar
sourabh kumar जुलाई 27, 2024 AT 05:10

बहुत बढ़िया लिखा आपने, सच में उनके काम से सीखने को बहुत है। हम सबको ऐसे आदर्शों को अपनाना चाहिए।

khajan singh
khajan singh जुलाई 27, 2024 AT 05:43

हैडली, आपको नहीं पता कि ये बकवास सिर्फ़ एक बेकार टिप्पणी है, हाहा 😊

Dharmendra Pal
Dharmendra Pal जुलाई 27, 2024 AT 07:23

उनकी राजनीतिक यात्रा को देख कर स्पष्ट है कि दृढ़ संकल्प सफलता की कुंजी है। उनका उदाहरण युवाओं के लिए प्रेरणादायक है। हमें ऐसे नेताओं की सराहना करनी चाहिए।

Balaji Venkatraman
Balaji Venkatraman जुलाई 27, 2024 AT 08:46

सच्ची बुराई नहीं थी लेकिन उनका योगदान सराहनीय है। आगे भी यही मार्ग अपनाना चाहिए।

Tushar Kumbhare
Tushar Kumbhare जुलाई 27, 2024 AT 09:28

बिल्कुल सही कहा, उनका दिल बड़ा था! 👍

Arvind Singh
Arvind Singh जुलाई 27, 2024 AT 10:26

ओह, अब भी वही पुरानी बातें दोहराते हो, जैसे कुछ नया नहीं है।

Vidyut Bhasin
Vidyut Bhasin जुलाई 27, 2024 AT 11:33

विचार करने लायक है, लेकिन हर बार वही मीठा-मीठा नारे सुनते रहना क्या ठीक है?

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